गृहविज्ञान महाविद्यालय में भारतीय मानक ब्यूरो द्वारा एक वृहत कार्यक्रम का आयोजन किया
सेमीनार में मुख्य वक्ता के रूप में जे. एस. राणा खाद्य सुरक्षा अधिकारी उपस्थित रहे
महाविद्यालय की प्राचार्य एव संरक्षक डॉ. श्रीमती कामिनी जैन के मार्गदर्शन में कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया
नर्मदा पुरम। शासकीय गृहविज्ञान अग्रणी स्नातकोत्तर महाविद्यालय में शुक्रवार को भारतीय मानक ब्यूरो द्वारा एक वृहत कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिसका उद्देश्य युवा प्रतिभाओं को गुणवत्ता और मानकता के माध्यम से सीखने का अवसर प्रदान करना है। इस कार्य में सहयोग के लिए शिक्षण संस्थाओं में मानक क्लब का गठन कर छात्राओं को भविष्य में गुणवत्ता के प्रथम अन्वेषक के रूप में कार्य कर सकें ऐसा विकसित करना है। इस कार्य में छात्राओं की रचनात्मकता को विस्तार देने के लिए शिक्षक या मेंटर की विशेष भूमिका होगी।
महाविद्यालय की प्राचार्य एवं सभी गतिविधियों की संरक्षक डॉ. श्रीमती कामिनी जैन के मार्गदर्शन में इस कार्यक्रम का शुभांरभ किया गया। उन्होंने बताया कि स्टैंडर्ड क्लब छात्राओं के महाविद्यालयीन अनुभव में सुधार लायेगा। यह अवसर प्रदान करेगा उनकी व्यावसायिक और वैयक्तिक वृद्धि में।
गतिविधि की संयोजक डॉ. वैशाली लाल, रसायन विभाग ने बताया कि गुणवत्ता और मानकता के क्षेत्र में यह भारतीय मानक ब्यूरो द्वारा अनुभव जनित शिक्षण प्रक्रिया है, जिसमें विभिन्न प्रतियोगिताएं के माध्यम से छात्राओं को इस दिशा में अवसर प्रदान किया गया है। इसमें लगभग 20 छात्राओं को सम्मिलित किया गया है। इस क्लब के निर्माण और गतिविधियों में विशेष सहयोग प्रदान करने के लिये।
डॉ. अरुण सिकरवार, रसायन विभाग ने बताया कि स्टैण्डर्ड क्लब के सदस्यों को शिक्षकों और मेंटर का सतत सहयोग प्राप्त रहेगा ताकि वि भविष्य के अन्वेषक बन सकें।डॉ. श्रीकांत दुबे ने बताया कि भारतीय मानक ब्यूरो भारतवासियों के लिए शासन की एक महत्वपूर्ण पहल है जो जनमानस के जीवन में सुरक्षा की दृष्टि से जागरूकता का प्रसार करती है।
यह कार्यक्रम तीन भागों में संपन्न हुआ। पहले भाग में सेमीनार, जिसमें महाविद्यालय की समस्त छात्राओं एवं प्राध्यापकों ने अपनी उपस्थिति दी। सेमीनार में मुख्य वक्ता के रूप में जे. एस. राणा नर्मदापुरम खाद्य सुरक्षा अधिकारी उपस्थित हुए। उन्होंने अपने वक्तव्य में कहा कि इस क्लब का निर्माण भारत के किसी भी शिक्षण संस्थान के विज्ञान के शिक्षक और विद्यार्थी मिलकर कर सकते हैं। क्लब में शिक्षक, मेंटर के रूप में और विद्यार्थी सदस्य के रूप में भूमिका निभायेंगे। मेंटर का निर्धारण संस्था प्रमुख के द्वारा किया जायेगा। इस क्लब के अंतर्गत होने वाली गतिविधियों का संचालन कोर ग्रुप के द्वारा किया जायेगा। यह कोर ग्रुप न्यूनतम 15 विद्यार्थियों का हो सकता है।
भारतीय मानक ब्यूरो ने गुणवत्ता और मानकता के लिए हजारों मानक बनाये हैं जो सुरक्षित और मजबूत जीवन को अग्रसर करते हैं। आज के युग में विज्ञान और तकनीक का वर्चस्व है जोकि ब्यूरो के मानकों के साथ सह सम्बन्ध स्थापित करते हैं। इस महत्वपूर्ण अभियान में भागीदारी देने वाले विज्ञान के विद्यार्थी और शिक्षक जो स्टैण्डर्ड क्लब के कोर सदस्य हैं, विभिन्न गतिविधियों के माध्यम से स्वयं, परिवार, समाज और देश में मानक मित्र के रूप में जागरुकता लायेंगे। यह सुरक्षित जीवन जीने के लिये उनके अतुलनीय योगदान को परिलक्षित करेगा। इन सभी गतिविधियों की प्रपोजल और रिपोर्ट स्टैण्डर्ड क्लब के सदस्यों को समय सीमा में जमा करनी होगी। सम्पूर्ण कार्य के लिए आर्थिक सहभागिता रहेगी।
ओरिएंटेशन कार्यक्रम में अरविंद्र पिपले भोपाल आशिता इंडस्ट्रीज ने बताया गया कि भारतीय मानक ब्यूरो स्टैण्डर्ड क्लब के माध्यम से प्रत्येक अकादमिक वर्ष में कम-से-कम तीन गतिविधियों को संचालित करवाएगी जो गुणवत्ता और मानकता की थीम पर होंगी। वर्ष 2023 में तीन गतिविधियों का चयन किया गया है जो समय-समय पर आयोजित होंगी। इसकी सूचना स्टैण्डर्ड क्लब के ग्रुप में पूर्व से ही दे दी जाएगी। पहली गतिविधि भारतीय मानकों पर सेमीनार और कार्यशाला के माध्यम से जागरूकता कार्यक्रम। दूसरी गतिविधि मानक लेखन प्रतियोगिता। तीसरी गतिविधि मानकों और गुणवत्ता पर आधारित क्विज, निबंध लेखन और वाद-विवाद प्रतियोगिताएं होंगी। इसके अतिरिक्त जागरुकता कार्यक्रम, वेबिनार या सेमीनार जो हॉस्पिटल बायो-मेडिकल अपशिष्ट प्रबंधन, सतत विकास, सॉलिड अपशिष्ट प्रबंधन, उद्योग, एक बेहतर संसार के लिए साझा विज़न आदि विषयों पर आधारित होंगे।
डॉ वैशाली लाल ने यह भी कहा कि मानक मित्र बनने पर हमारे भीतर भी मानक बनने का विचार आना चाहिए क्योंकि यदि हम मानक हैं तो हमारे आसपास का जन समूह हमारी बात को अवश्य सुनेगा। आप उनके जीवन में सुरक्षा का प्रयास कर रहे हैं। यह तभी संभव होगा जब आप जीवन मूल्यों को स्वयं में स्थापित करेंगे।
कार्यक्रम का संचालन श्रीमती आभा वाधवा ने किया। अंत में भारतीय परम्परा अनुसार सभी उपस्थित लोगों का आभार डॉ मनीष चौधरी ने किया। कार्यक्रम की व्यवस्थाओं में शुभम भद्रे ने सहयोग प्रदान किया। इस अवसर पर अनेक प्राध्यापकों और छात्राओं ने अपनी उपस्थिति सुनिश्चित की।
मनोज सोनी एडिटर इन चीफ


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